दाँत चियारिए, आप ‘लखनऊ’ मे हैं

May 23, 2023 0

एक यात्रा-संस्मरण ● आचार्य पं० पृथ्वीनाथ पाण्डेय जनाब! लखनऊ भी एक शहर है, जो दिल्ली की तरह आलम (सबसे अधिक जाननेवाला) मे इन्तिख़ाब (बहुतों मे से कुछ को छाँट लेना) तो नहीं; लेकिन अपनी तहज़ीबी […]

यादें : पापा की पार्टी और अम्मा की पार्टी

July 24, 2022 0

पापा रोज शाम को कहते- “मेरी पार्टी वाले लोग, मेरे पास आ आओ। अम्मा की पार्टी वाले, अम्मा की तरफ जाओ।” इतना सुनते ही मैं पापा की तरफ भागता और बड़े भैया अम्मा की तरफ। […]

गाँवों का जीवन झुलस रहा है

April 30, 2022 0

राघवेन्द्र कुमार त्रिपाठी ‘राघव’- वास्तव में भारत गाँवों में ही बसता है। शान्ति, सहिष्णुता, अहिंसा, नैतिक मूल्य और संस्कृति का दर्शन गाँवों के अतिरिक्त और कहाँ होगा? अफ़सोस गाँव बदल गए हैं। अब गाँव में […]

पटिया-पञ्चायत

June 17, 2020 0

महेन्द्र नाथ महर्षि (सेवा. नि. वरिष्ठ अधिकारी दूरदर्शन, दिल्ली), गुरुग्राम कस्बाई गलियों वाले जीवन में बड़ा सुकून परसा रहता था। दिन सुबह पौ फटने से शुरू होता और गली की गहमागहमी धीरे-धीरे बढ़ती। दूर मंदिर […]

संस्मरण : मेला और समाज

December 2, 2019 0

लेखक- उपेंद्र सिंह /सोनू (ग्राम-कनकुआ, पोस्ट-ताखा, जिला-इटावा) इम्तिहानों से पार पाने के बाद ननिहाल जाने की ऐसी कोई चाहत नहीं हुआ करती थी लेकिन एक लक्ष्य ज़रूर होता था । गेहूँ की कटाई कब शुरू […]

“मैंने अतीत को ध्यान से पढ़ा है; वर्तमान को मनोयोग से सुना है तथा भविष्य को प्रत्यक्ष की भाँति देखा है” – श्रीमती इन्दिरा गान्धी

October 31, 2019 0

●आज (३१ अक्तूबर) इन्दिरा जी की बलिदान-तिथि है। ◆ आज देश को इन्दिरा जी-जैसी प्रधानमन्त्री की आवश्यकता है। विश्व की राजनीतिक क्षितिज पर देदीप्यमान महानायिका इन्दिरा प्रियदर्शिनी की पुण्यतिथि (३१ अक्तूबर) पर हमारा मुक्त मीडिया […]

संस्मरण : लब पे आती है दुआ बनके….

October 18, 2019 0

महेन्द्र महर्षि, गुरुग्राम (से.नि. वरिष्ठ प्रसारण अधिकारी, दूरदर्शन) मैंने अपनी हाई स्कूल की परीक्षा अजमेर नगर के स्टेशन रोड पर स्थित गवर्नमेंट मोइनिया स्लामिया हाई स्कूल से 1957 में पास की। श्री मुज़फ़्फ़र अली तब […]

अतीत के झरोखे से : छायावाद के चतुर्थ स्तम्भ महादेवी जी के साथ पृथ्वीनाथ पाण्डेय-द्वारा की गयी एक भेंटवार्त्ता

September 11, 2019 0

● महीयसी महादेवी वर्मा की मृत्युतिथि (११ सितम्बर) पर विशेष मैंने महादेवी जी के साथ अस्सी के दशक में एक मुक्त भेंटवार्त्ता की थी; तब मैं विद्यार्थी और पत्रकार की भूमिका में भी होता था। […]

मेरी सरकार रहे, चली जाये, मगर अभद्रता की अनुमति नहीं ही दूँगा : अटलबिहारी वाजपेयी

August 16, 2019 0

● आज (१६ अगस्त) अटल जी की मृत्युतिथि है। ◆ “मेरी सरकार रहे, चाहे चली जाये, मगर अभद्रता की अनुमति नहीं ही दूँगा”— अटल (अटलबिहारी वाजपेयी के साथ डॉ० पृथ्वीनाथ पाण्डेय की मुक्त भेंटवार्त्ता)– पं० […]

गीत ऋषि गोपाल दास नीरज का हिन्दी साहित्य में स्थान

July 21, 2019 0

राजेश कुमार शर्मा”पुरोहित”, राष्ट्रीय मीडिया प्रभारी साहित्य संगम संस्थान दिल्ली हिन्दी फिल्मों में आपने कई गीत लिखे। गीतों के लिए तीन बार फ़िल्म फेयर अवार्ड मिला। इटावा उत्तरप्रदेश के पुरावली गाँव में बाबू बृजकिशोर सक्सेना […]

प्रतिष्ठित साहित्यकार कृष्णेश्वर डींगर मितभाषी और गम्भीर वक्ता थे

June 19, 2019 0

अपनी काव्यकृति ‘परिधि से केन्द्र तक’ की मनोरम यात्रा करानेवाले कृष्णेश्वर डींगर अपने साहित्यकार मित्रों और पाठकवर्ग को यात्रा कराते-कराते, स्वयं चिरनिद्रा में लीन हो गये! प्रयागराज के विश्रुत सारस्वत हस्ताक्षर डींगर जी दशकों तक […]

एक आस दिखी, तोड़ नहीं सकता जिसे : पुलकित खरे (जिलाधिकारी हरदोई)

April 13, 2018 0

पुलकित खरे (जिलाधिकारी हरदोई) की फ़ेसबुक वॉल से- कुछ दिन मेरे खाते में भी ऐसे होते हैं, जब सर्विस की कुछ मजबूरियाँ परेशान करती हैं, हैरान करती हैं और घुटन की कगार पर ले जाती […]

लहलहाते पेड़ की छँटाई….. दुबई की एक सुबह…

February 14, 2018 0

महेन्द्र महर्षि, वरिष्ठ प्रसारण अधिकारी दिल्ली दूरदर्शन  (दुबई प्रवास के दौरान)- वक़्त तो तय नहीं है । लेकिन पिछले कुछ दिनों से दिन के पहले पहर में इस बेंच पर बैठ कर सूक्ष्म व्यायाम करने […]

स्मरण : बाबा जी का चश्मा

December 25, 2017 0

आकांक्षा मिश्रा, गोंडा, उत्तर प्रदेश- मकर संक्रांति की तैयारी दादी पूरी शिद्दत से करती थी इस पर्व के पूर्व ही तिवारी जी को नेवता देती उनके लिए धोती, कुर्ता, गमछा, इक्कीस रूपये धोती के छोर […]

अग्नि पुरुष खुदीराम बोस को नमन

August 11, 2017 0

भारत माँ के लिए 19 साल का युवा खुदीराम बोस हंसते-हंसते फांसी पर चढ़ गया । इस महान स्वतंत्रता सेनानी की पुण्यतिथि पर उन्हें देश शत्-शत् नमन करता है ।  खुदीराम बोस  का नाम इतिहास में एक […]

जेल से वापस आने पर 

August 9, 2017 0

अशोक सिन्हा (पूर्व प्रशासनिक अधिकारी एवं संघ विचारक)- (१२ जुलाई १९२२ की स्वागत सभा में संघ संस्थापक डा.हेडगेवार का एक भाषण अंश, यह सभा डा. जी के स्वागतार्थ उस समय आयोजित हुई थी -जब वे […]

मेरे आशू भैया तो बहुत सीधे, सज्जन, सरल और आमजन को समर्पित हुआ करते थे !

August 8, 2017 0

सुधीर अवस्थी ‘परदेशी’- आशीष सिंह आशू मल्लांवा से भाजपा के विधायक और पत्रकारों के बीच आपसी झंझट की खबरें फेसबुक पर पढ़ीं तो चौंक गया। किन परिस्थितियों में यह हालात पैदा हुए मुझे नहीं पता […]

जीवनदाता परम पूज्यनीय पिता जी के नाम ‘चिट्ठी’

July 22, 2017 0

सुधीर अवस्थी ‘परदेशी’ (बघौली, हरदोई)- छोटे-बड़े सम्मानित साथियों यह रचना मखौल नहीं मेरे दिल के उदगार हैं। जो पिताजी के याद में लिख गए । आपकी समझ में आपका इससे कोई सरोकार भले न हो […]

हमरी मेहरूआ : शादी की 10वीं वर्षगांठ

July 8, 2017 0

सुधीर अवस्थी ‘परदेशी’- मेरी परम प्रिय धर्मपत्नी मणि ! मैं तुम्हारा आभारी हूं। जीवन के कठिन संघर्षो में गुरू-पितु-मातु का सानिध्य और आपके साथ ने मुझे बहुत ही सहारा दिया। आज वैवाहिक 10वीं वर्षगांठ पर […]