
उत्तर प्रदेश के कौशांबी जिले में समाज कल्याण विभाग में इतना बड़ा फर्जीवाड़ा होने के बावजूद आज तक विभागीय अधिकारियों की नहीं हो रही जांच।
कौशांबी जिले में समाज कल्याण विभाग से संबंधित आर्थिक परिवारिक लाभ के नाम पर जिंदा लोगों को मृतक दिखाकर सरकारी धन राशि लगभग करोड़ों रुपए का गबन किया गया है । यहाँ तक कि जिन लोगों को मृतक दिखाया गया है उनको भनक तक नहीं चली कि मेरे नाम से मृतक आश्रित का पैसा निकाल लिया गया है और कुछ लोग आज तक नहीं जानते हैं कि हमें मृतक दिखाया गया है । जबकि योगी सरकार कहती है कि भ्रष्टाचार खत्म करेंगे और भ्रष्टाचार करने वाले के खिलाफ कठोर कार्यवाही करेंगे।
देखना यह है कि उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य क्या अपने गृह जनपद में ही इन ग्रामीण जनता के साथ इतना बड़ा धोखा धड़ी करने वाले अधिकारी एवं दलालों की क्या उच्च स्तरीय जांच करवा पाएंगे या फिर बड़े-बड़े वादे ही करते रहेंगे। सवाल यह उठता है कि क्या अपने गृह जनपद में ही डिप्टी सीएम न्याय दिला पाएंगे?
क्या अपने गृह जनपद में भ्रष्टाचार करने वालों के खिलाफ कार्रवाई करवा पाएंगे?
क्या विभागीय अधिकारियों के ख़िलाफ़ उच्च स्तरीय जांच करवा पाएंगे?
क्या योगी सरकार में इन ग्रामीण जनता को न्याय मिल पाएगा या इस सरकार में न्याय मिलने से वंचित रहेंगे?
कौशांबी ब्यूरो रिपोर्ट