डॉ० पृथ्वीनाथ पाण्डेय
सामूहिक बलात्कार की पीड़िता चिल्ला-चिल्लाकर बता रही है : मेरे साथ सामूहिक बलात्कार और मेरे पिता की मार-मारकर और शरीर पर पानी डालकर बुरी तरह से घायल कर हत्या करने के लिए कुलदीप सिंह सेंगर ज़िम्मेदार है, जबकि उत्तरप्रदेश की ‘योगी-सरकार’ चलानेवाले लोग उच्च न्यायालय, इलाहाबाद के न्यायाधीशगण के इस प्रश्न : अभी तक बलात्कार के आरोपित भारतीय जनता पार्टी के विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को गिरफ़्तार क्यों नहीं किया गया? : के उत्तर में बताया है :– कुलदीप सिंह सेंगर के विरुद्ध कोई सुबूत नहीं है, इसलिए गिरिफ़्तारी नहीं हुई। आरोपित विधायक का धमकीभरा वीडियो प्रसारित हो रहा है, परन्तु आदित्यनाथ योगी को दिख नहीं रहा है?..! इस पर विधिज्ञ न्यायाधीशगण ने प्रतिप्रश्न किया है : गिरिफ़्तारी के लिए प्रत्येक अपराध में आरोपित के विरुद्ध सुबूत की ज़रूरत पड़ती है क्या?
उधर, उत्तरप्रदेश का डी०जी०पी० कहता है : गिरिफ़्तारी सी०बी०आई० करेगी।
इससे सुस्पष्ट हो जाता है कि जिस ‘नारी-सम्मान’ की ज़ुम्लेबाज़ी कर, उत्तरप्रदेश की जनता को बरगलाकर अतिरिक्त बहुमत के साथ आदित्यनाथ योगी सत्ता में पहुँचे हैं, वही अब ‘योगी’ ‘नारी-सम्मान’ की धज्जियाँ उड़ाते हुए, अपनी पार्टी के आरोपित विधायक के पक्ष में आ खड़े हुए हैं।
चिन्ता की कोई बात नहीं, अब उच्च न्यायालय के सम्बन्धित दूरदर्शी न्यायाधीशगण ने अपना निर्णय सुरक्षित कर लिया है और कल (१२ अप्रैल, २०१८ ई०) अपना निर्णय सुनायेंगे।
वास्तव में, इस जघन्य-प्रकरण में ‘उन्नाव-पुलिस-प्रशासन’ पूरी तरह से उत्तरदायी है और उसके सभी पुलिसकर्मियों (अधिकारी इत्यादिक) को तत्काल निलम्बित कर, उनके विरुद्ध क़ानूनी कार्यवाही करायी जाये। इतना ही नहीं, उत्तरप्रदेश डी०जी०पी० को न्यायिक कठघरे में खड़ाकर उसकी उदासीनता का कारण पूछा जाये। वह निलम्बन तब तक जारी रहे जब तक पीड़ित पक्ष को न्याय मिल जाये।
(सर्वाधिकार सुरक्षित : डॉ० पृथ्वीनाथ पाण्डेय, १२अप्रैल, २०१८ ई०)