भारतवर्ष आज स्वतन्त्रता दिवस की 71वीं वर्षगाँठ मना रहा है । राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में लालकिले पर स्वतन्त्रता दिवस का मुख्य समारोह आयोजित किया गया। लालकिले की प्राचीर पर राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने फहराया । इसके बाद उन्होंने राष्ट्र को संबोधित किया । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के संबोधन में देश के प्रति उनके लगाव के साथ ही कश्मीर के हालात और आतंकवाद की टीस, भ्रष्टाचार का दंश, भारत की आर्थिक साख के साथ ही धार्मिक हिंसा व तीन तलाक को लेकर उनकी भावनाओं व सरकार की प्रतिबद्धताओं को आसानी से समझा व महसूस किया जा सकता है ।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कश्मीर मुद्दे का समाधान गोली या गाली से नही बल्कि हर कश्मीरी को गले लगाकर हो सकता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार, कश्मीर की खोई गरिमा और धरती पर स्वर्ग के उसके दर्जे को फिर लौटाने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि केवल मुट्ठी भर अलगाववादी राज्य में समस्याएं खड़ी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि आतंकवादियों के प्रति नरम रवैया नहीं अपनाया जाएगा। श्री मोदी ने कहा कि भारत विश्व समुदाय के साथ मिलकर आतंकवाद से लड़ रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार ने राष्ट्र की मुख्यधारा में शामिल होने का आतंकवादियों को मौका दिया है और भारतीय लोकतंत्र में बातचीत के लिए पर्याप्त स्थान है। राष्ट्रीय सुरक्षा पर प्रधानमंत्री ने कहा कि यह देश की प्राथमिकता है और वह हर प्रकार से अपनी रक्षा करने में सक्षम है।
नोटबंदी का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि जिन्होंने देश और गरीबों को लूटा है वे शान्ति से नहीं सो सकते। उन्होंने कहा कि कालेधन के खिलाफ जंग जारी रहेगी और टेक्नॉलॉजी पारदर्शिता लाने में मदद करेगी। श्री मोदी ने लोगों को डिजिटल लेनदेन के लिए प्रोत्साहित किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि नोटबंदी के बाद बैंकों में एक करोड़ 75 लाख से अधिक राशि जमा की गई। उन्होंने कहा कि अघोषित संपत्ति के मामलों में 18 लाख से अधिक लोग को सरकार की जांच के दायरे में हैं। श्री मोदी ने कहा कि बाहरी विशेषज्ञों के अनुसार नोटबंदी से तीन लाख करोड़ रुपए से अधिक की राशि बैंकिंग व्यवस्था में लाने में मदद मिली। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह नोटबंदी का ही नतीजा है कि कर देने वालों की संख्या पिछले वर्ष के 22 लाख से बढ़कर इस वर्ष 56 लाख हो गई। श्री मोदी ने कहा कि सरकार ने भ्रष्टाचार पर लगाम लगाई है और पिछले तीन वर्षों में एक लाख 25 हजार करोड़ रुपए के कालेधन का पता लगाया। प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार ने फर्जी कम्पनियों पर कड़ी कार्रवाई की है। उन्होंने कहा कि ऐसी तीन लाख कंपनियों में से एक लाख 75 हजार का पंजीकरण रद्द किया गया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई जारी रहेगी। उन्होंने यह भी बताया कि सरकार ने आठ सौ करोड़ रुपए की बेनामी संपत्ति जब्त की है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि आस्था के नाम पर हिंसा स्वीकार्य नहीं है। जातिवाद और सम्प्रदायवाद देश के लिए जहर की तरह हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत महात्मा गांधी और भगवान बुद्ध की भूमि है। श्री मोदी ने कहा कि हमारे देश की संस्कृति सब को साथ लेकर विकास के रास्ते पर चलने की है इसलिए आस्था के नाम पर हिंसा को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। प्रधानमंत्री ने शांति और सद्भाव पर जोर देते हुए कहा कि स्वतंत्रता संग्राम के नारे-भारत छोड़ो के स्थान पर आज के भारत के लिए भारत जोड़ो का नारा होना चाहिए। देश शांति, एकता और सद्भावना से चलता है। जातिवाद का जहर, सांम्प्रदायवाद का जहर देश का कभी भला नहीं कर सकता है। सबको साथ ले करके चलना यह इस देश की संस्कृती और परम्परा का हिस्सा है और इसलिए मैं देशवासियों से आग्रह करूंगा। उस समय भारत छोड़ो का नारा था, आज नारा है भारत जोड़ो। समाज के हर तबके को साथ लेना है और उसी को ले करके हमें देश को आगे बढ़ाना है।
प्रधानमंत्री ने कृषि क्षेत्र की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए इस वर्ष रिकॉर्ड फसल उत्पादन के लिए किसानों और कृषि वैज्ञानिकों की सराहना की। उन्होंने कहा कि सरकार ने इस वर्ष 16 लाख टन दाल की खरीद की है जो पिछले वर्ष के मुकाबले काफी अधिक है। मेरे किसान भाइयों-बहनों हिन्दुस्तान में कभी भी सरकार में दाल खरीदने की परम्परा ही नहीं थी और कभी एक आध बार किया हो तो हजारों टन के हिसाब से होता था। इस बार जब मेरे देश के किसानों ने दाल उत्पादन करके गरीब को पौष्टिक आहार का काम किया तो सोलह लाख टन दाल सरकार ने खरीदने का ऐतिहासिक काम करके इस काम को बढ़ावा दिया। श्री मोदी ने कहा कि एन.डी.ए. सरकार के कृषि क्षेत्र के विकास के लिए कई कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि कृषि बीमा योजना से जुड़ने वाले किसानों की संख्या पांच करोड़ 75 लाख तक पहुंच गई है। प्रधानमंत्री ने कहा कि जी.एस.टी. का लागू होना सहकारी संघवाद का महत्वपूर्ण उदाहरण है।
प्रधानमंत्री ने तीन तलाक प्रथा को समाप्त करने के लिए महिलाओं की लड़ाई की सराहना की और कहा कि अपने अधिकार पाने के इस प्रयास में पूरा देश उनके साथ है। तीन तलाक से पीडि़त बहनों ने पूरे देश में एक आंदोलन खड़ा किया। देश के बुद्धिजीवी वर्ग को हिला दिया। देश के मीडिया ने भी उनकी मदद की। पूरे देश में तीन तलाक के खिलाफ एक माहौल निर्माण हुआ और मुझे विश्वास है कि माताओं-बहनों को अधिकार दिलाने में उनकी इस लड़त में हिन्दुस्तान उनकी पूरी मदद करेगा।
प्रधानमंत्री ने, चलता है कहकर आत्मसंतोष करने की प्रवृत्ति से छुटकारा पाने का अह्वान किया। बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि सड़क और रेल निर्माण का कार्य दुगनी गति से प्रगति पर है। श्री मोदी ने कहा कि पूरा देश, प्राकृतिक आपदाओं से प्रभावित लोगों और गोरखपुर के बी.आर.डी. मेडिकल कॉलेज अस्पताल में बच्चों की मौत की त्रासदी से पीड़ित परिवारों के साथ हैं। उन्होंने आश्वासन दिया कि सरकार संकट की इस घड़ी में इनकी सुरक्षा के लिए पूरी संवदेनशीलता से इनके साथ खड़ी है। नये भारत का आह्वान करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि इसमें हर गरीब के पास अपना घर होगा और सबको बिजली और पानी उपलब्ध होगा।
—Source: AIR