जिलाधिकारी की अध्यक्षता में राजस्व स्टाफ की बैठक कलेक्ट्रेट स्थित सभागार में संपन्न हुई। बैठक में जिलाधिकारी ने सभी एसडीएम व तहसीलदारों के लम्बित वादों का प्राथमिकता के साथ निराकरण करने के निर्देश दिये। उन्होने कहा कि सभी पीठासीन अधिकारी सप्ताह में 4 दिवस अवश्य न्यायालय में बैठकर प्रकरणो का प्राथमिकता के साथ निराकरण करेंगे। साथ ही 5 वर्ष से अधिक समय के लंबित प्रकरणों को इसी माह के अन्त तक निस्तारित किये जाने के निर्देश भी दिये।
राजस्व वसूली की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि छोटे बकायेदारो को अनावश्यक न परेशान किया जाये। शीर्ष 15 बकायेदारो से ही प्रभावी ढ़ंग से वसूली सुनिश्चित की जाये तथा एन्टी भू माफिया कार्यक्रम को नियमित चलाते रहने एवं चिन्हांकित भू-माफियाओं से कब्जा मुक्त कराने एवं तालाबों का अभिलेखानुसार सत्यापन कराने के निर्देश दिये। वरासत हेतु तहसीलों में संचालित सिंगल विन्डो की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने सिंगल विन्डों के अन्तर्गत आये आवेदनों एवं उनका किये गये निस्तारण की आख्या तीन दिन में उपलब्ध कराने के निर्देश उप जिलाधिकारी को दिये। अधिकारियों की शिथिल रवैया पर नाराजगी प्रकट करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि जो अधिकारी काम नही करना चाहते हैं वो जिला छोड़कर चले जाये, यहॉ रहेंगे तो उन्हे कार्य करना ही पडे़गा। बैठक में सीमांकन, परियोजनाओं हेतु भूमि का चिन्हांकन, दैवीय आपदा, बाढ़, कैशलेस स्कीम, कृषक दुर्घटना एवं आम आदमी बीमा योजना सहित दो नई तहसील गठन के प्रस्ताव की गहन समीक्षा की गई।
इस अवसर पर अपर जिलाधिकारी डा0 विपिन कुमार मिश्र, नगर मजिस्ट्रेट वंदिता श्रीवास्तव, सभी उप जिलाधिकारी, तहसीलदार आदि मौजूद रहे।