एक और चेहरा

November 17, 2022 0

● आचार्य पं० पृथ्वीनाथ पाण्डेय मेरे चेहरे पे जो चेहरा है,हक़ीक़त बयाँ नहीं करता;वह चिटकता भी नहीं।उसका पारदर्शी चरित्रअक्खड़ बन चुका है।भेद की एक अबेध्य नगरी,उसके आस-पास बसा दी गयी है।उसमे अपने हैं; पर रास […]