कविता : कोई पता नहीं

अपने थे या बेगाने
कोई पता नहीं।
गम देगे या खुशियां
कोई पता नहीं।
मुस्कुरा कर गए या
रुलाकर गए
कोई पता नहीं।
हंसते हुए रुला गए
या रुलाते हुए हंसा गए
कोई पता नहीं।
बेनाम का नाम कर गए
या फिर बदनाम कर गए
कोई पता नहीं।
अपनापन दे गए
या बेगाना कर गए
कोई पता नहीं।

राजीव डोगरा
(भाषा अध्यापक)
राजकीय उत्कृष्ट वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय
गाहलिया
पता-गांव जनयानकड़
पिन कोड -176038
कांगड़ा हिमाचल प्रदेश