अधोटंकित वाक्य को सकारण शुद्ध करें–
● उस जंगलों के भीतरी हिस्सों मे प्रवेश नहीं करें।
जब भी इस प्रकार का वा इससे मिलता-जुलता वाक्य शुद्ध करने के लिए प्रस्तुत किया जाये तब आप उसे समझते हुए पढ़ें।
वाक्य है– उस जंगलों के भीतरी हिस्सों मे प्रवेश नहीं करें।
हमे यहाँ पर कर्त्ता, कर्म एवं क्रिया पर विचार करने हैं।
कर्त्ता ‘उस जंगलों’ को हम ‘उस जंगल’ करेंगे; क्योंकि ‘कर्त्ता’ के प्रथम भाग के अनुसार ही उसके साथ जुड़े शब्द के व्याकरणात्मक पक्ष (वचन) पर विचार किया जाता है। हम ‘जंगल’, ‘नदी’, ‘गुफा’ इत्यादिक स्थानो मे हमेशा ‘भीतर’ ही प्रवेश करते हैं, अत: अलग से कर्म-शब्द ‘भीतर’ वा ‘भीतरी हिस्सों’ के प्रयोग करने की आवश्यकता नहीं है।
क्रिया-शब्द ‘प्रवेश नहीं करें’ के स्थान पर ‘प्रवेश न करें’ होगा; क्योंकि ‘न’ मे ‘मत’ का भाव निहित है, जो कि ‘वर्जना’ के अर्थ मे है और ‘सलाह’ के भी अर्थ मे।
यहाँ समझाया भी जा रहा है कि जंगल मे प्रवेश करना, संकटपूर्ण स्थिति बन सकती है वा ख़तरे से ख़ाली नहीं है। जैसे– आप वहाँ ‘न’ जायें।/आप वहाँ ‘मत’ जायें।
(सर्वाधिकार सुरक्षित– आचार्य पं० पृथ्वीनाथ पाण्डेय, प्रयागराज; १९ मार्च, २०२४ ईसवी।)